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कौन हैं लवलीना बोरगोहेन? | Who is Lovlina Borgohai?

टोक्यो ओलम्पिक-2020 का आयोजन कोरोना के चलते काफी प्रभावित रहा है। बावजूद इसके जापान ने इसका सफल आयोजन करके दुनिया को एक सकारात्मक सन्देश दिया है। भारत के लिहाज से देखा जाये तो यह ओलम्पिक हमारे लिए काफी सकारात्मक ऊर्जा लेकर आया है। विशेषकर भारत की लड़कियों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए देश को 3 पदक दिलाये। आज के इस लेख मे हम ऐसी ही भारत की एक बेटी के बारे मे जानकारी देने जा रहे हैं, जिन्होंने अपने पहले ही ओलम्पिक मे मात्र 23 साल की उम्र मे देश को बॉक्सिंग मे कांस्य पदक दिलाया है। हमारा आज का यह लेख  देश की नयी बॉक्सिंग सनसनी लवलीना बोरगोहेन को समर्पित है।  तो चलिए जानते हैं कौन हैं लवलीना बोरगोहेन

आज के इस लेख मे आपके लिए है

लवलीना बोरगोहेन -प्रारंभिक परिचय

लवलीना बोरगोहेन का बॉक्सिंग करियर

लवलीना बोरगोहेन की उपलब्धियां

लवलीना बोरगोहेन का पहला ओलम्पिक सफर

लवलीना बोरगोहेनओलम्पिक के बाद बदल गयी जिंदगी

भारत के अन्य ओलम्पिक विजेता बॉक्सर्स(मुक्केबाज़)

एमसी मैरीकॉम

विजेंद्र सिंह

चलतेचलते

दोस्तों, लवलीना बोरगोहेन, मीराबाई चानू, हिमा दास और न जाने ऐसे ही कितने गुमनाम हीरे हमारे देश के पास हैं , जरूरत है बस उन्हें पहचानने और तराशने की।

मैं यहाँ पर पहचानने की शब्द इसलिए उपयोग कर रहा हूँ, क्योकि लवलीना बोरगोहेन, मीराबाई चानू, हिमा दास सरीखे कई अनमोल हीरे बहुत ही कम मूलभूत सुविधाओं और तंगहाल आर्थिक परिस्थितियों के साथ अपने कैरियर की शुरुआत करते हैं। इन प्रतिभाओं के पास खान- पान, यातायात, प्रशिक्षण कोर्स फ़ीस, खेल सम्बन्धी सामान आदि के लिए भी धनराशि नहीं होती है। इसमें से कोई लिफ्ट लेकर प्रशिक्षण केंद्र तक पहुँचता है, कोई पैदल ही पहुँचता है , किसी के माता-पिता उसकी आवश्यकता पूर्ति के लिए एक वक्त का खाना खाते हैं और किसी को पोषक खाना भी नसीब नहीं होता है। इनकी इस स्थिति से उठकर किसी योग्य प्रशिक्षक या प्रशिक्षण संस्थान तक पहुंचना भी अपने आप मे एक ओलम्पिक ही है। हमें हर्ष है की हमारी बेटियों ने इस ओलम्पिक मे शानदार प्रदर्शन करके देश की अन्य युवा खेल प्रतिभाओं के लिए एक उदाहरण सेट कर दिया है, जिसने राज्य सरकारों तथा केंद्र सरकार का ध्यान इस ओर खींच दिया है।

अब सरकार खेलों के प्रति ओर अधिक जागरूक नजर आ रही है, इसके पूरे आसार है कि जल्द ही देश मे बहुत सी स्पोर्ट्स सुविधायें मिलने वाली हैं और आने वाले समय मे हमारे देश से बहुत से मैडल निकलने वाले हैं। इसी आशा के साथ कि हमारा देश आने वाले समय में ओलम्पिक मैडल तालिका मे टॉप 5 मे प्रदर्शन करते नजर आये और भारत क्रिकेट के समान अन्य खेलों में भी बादशाहत कायम करे। इसी के साथ हम आज का यह लेख यही समाप्त करते हैं। धन्यवाद!